भारत-पाक तनाव के बीच वायरल वीडियो की बाढ़, जानिए कैसे पहचानें फर्जी वीडियो

भारत-पाक तनाव के बीच वायरल वीडियो की बाढ़, जानिए कैसे पहचानें फर्जी वीडियो

भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के माहौल में सोशल मीडिया पर ऐसी कई वीडियो क्लिप्स वायरल हो रही हैं, जो जनता को सीमा पर चल रही सैन्य गतिविधियों, ड्रोन हमलों और सरकारी अलर्ट की रियल-टाइम झलकियां बता रही हैं। लेकिन, इनमें से ज्यादातर वीडियो या तो एडिटेड हैं, बाहरी घटनाओं से जोड़े गए हैं या पूरी तरह से फर्जी हैं।

Digit.in Survey
✅ Thank you for completing the survey!

भारतीय सुरक्षा एजेंसियों ने जनता को आगाह किया है कि इस तरह की वीडियो पाकिस्तान प्रायोजित प्रोपेगेंडा का हिस्सा हो सकती हैं, जिनका उद्देश्य भारत में अराजकता और घबराहट फैलाना है। नीचे दिए गए उपायों की मदद से आप जान सकते हैं कि कोई वायरल वीडियो असली है या नकली।

वीडियो के मूल स्रोत की जांच करें

हमेशा यह सोचे कि यह वीडियो सबसे पहले किसने पोस्ट किया? अगर यह किसी अनजान अकाउंट से आया है, या किसी व्हाट्सएप फॉरवर्ड के ज़रिये मिला है जिसमें कोई भरोसेमंद स्रोत नहीं दिया गया, तो उस पर भरोसा न करें। ऐसे संवेदनशील समय में केवल सरकारी एजेंसियां या जाने-माने मीडिया ऑर्गनाइज़ेशन ही ऑथेंटिक न्यूज साझा करते हैं।

यह भी पढ़ें: Google अपने Chrome यूजर्स के लिए लाया नया हथियार, अब AI करेगा ऑनलाइन स्कैम्स का सफाया

रिवर्स सर्च टूल्स का इस्तेमाल करें

InVID, Google Reverse Image Search जैसे ऑनलाइन टूल्स की मदद से आप वीडियो का स्क्रीनशॉट लेकर पता लगा सकते हैं कि यह वीडियो सबसे पहले कहां और कब पोस्ट हुआ था। वर्तमान संघर्ष के दौरान फैलाए जा रहे ज़्यादातर वीडियो पुराने विदेशी घटनाओं के हैं, जिन्हें ताज़ा बताकर फैलाया जा रहा है।

फैक्ट-चेकिंग अलर्ट्स खोजें

PIB Fact Check और अन्य स्वतंत्र फैक्ट-चेक संस्थाएं लगातार वायरल फर्जी वीडियो को उजागर कर रही हैं। आप उनकी वेबसाइट या सोशल मीडिया पर इन वीडियो की सच्चाई की जांच कर सकते हैं, या PIB Fact Check को व्हाट्सएप के माध्यम से +91 8799711259 इस नंबर पर संदिग्ध वीडियो भेज सकते हैं।

गुमराह करने वाले हेडलाइंस से सतर्क रहें

कई बार फर्जी वीडियो को असली कैप्शन के साथ पेश किया जाता है। उदाहरण के लिए, किसी सैन्य अभ्यास या परेड का वीडियो “सीमा पर ताज़ा दृश्य” बताकर शेयर किया जा सकता है। ऐसे में आपको वीडियो के कैप्शन की तुलना विश्वसनीय समाचार स्रोतों से करनी चाहिए।

बिना वेरिफाई किए वीडियो शेयर न करें

तनावपूर्ण हालातों में गलत जानकारी का प्रसार न केवल घबराहट बढ़ाता है, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए भी खतरनाक हो सकता है। अगर आप किसी वीडियो की ऑथेंटिसिटी को लेकर निश्चित नहीं हैं, तो उसे शेयर न करें।

इस तरह के नाजुक समय में सतर्क नागरिक बनकर फ़ैक्ट-चेक करना और गलत जानकारी को रोकना बहुत जरूरी है। आपकी थोड़ी सी सतर्कता देश में शांति और विश्वास बनाए रखने में मदद कर सकती है।

यह भी पढ़ें: Mother’s Day 2025: इन 5 बेहतरीन फिल्मों के साथ मां के अनोखे रूपों को करें सेलिब्रेट, दिखाती हैं ममता के अलग-अलग रंग

Faiza Parveen

Faiza Parveen

फाईज़ा परवीन डिजिट हिंदी में एक कॉन्टेन्ट राइटर हैं। वह 2023 से डिजिट में काम कर रही हैं और इससे पहले वह 6 महीने डिजिट में फ्रीलांसर जर्नलिस्ट के तौर पर भी काम कर चुकी हैं। वह दिल्ली विश्वविद्यालय से स्नातक स्तर की पढ़ाई कर रही हैं, और उनके पसंदीदा तकनीकी विषयों में स्मार्टफोन, टेलिकॉम और मोबाइल ऐप शामिल हैं। उन्हें हमारे हिंदी पाठकों को वेब पर किसी डिवाइस या सेवा का उपयोग करने का तरीका सीखने में मदद करने के लिए लेख लिखने में आनंद आता है। सोशल मीडिया की दीवानी फाईज़ा को अक्सर अपने छोटे वीडियो की लत के कारण स्क्रॉलिंग करते हुए देखा जाता है। वह थ्रिलर फ्लिक्स देखना भी काफी पसंद करती हैं। View Full Profile

Digit.in
Logo
Digit.in
Logo